हिस्टोरिकल प्लेस पर घूमने का बना रहे हैं प्लान , तो यह खास लोकेशन देगी ‘आल इन वन’ का मजा
Jhansi Tourist Places: भारत का इतिहास प्राचीन काल से ही स्वर्णिम रहा है। यहां की ऐतिहासिक इमारतें, अव्वल दर्जे की वास्तुकला और अद्भुत कलाकारी से परिपूर्ण भारत में ऐसे कई ऐतिहासिक स्थल है जो पर्यटन की दृष्टि से बहुत ही महत्वपूर्ण माने जाते हैं।
अंग्रेजी शासन के दौरान ऐसे कई शहर हैं जिनमें आजादी की लड़ाई से संबंधित कई महत्वपूर्ण अवशेष मौजूद है। जो आज भी स्वतंत्रता के लिए दिए गए बलिदान की याद दिलाते हैं। अगर आप भी भार भी आएगा मैं भी डालूंगा क्या करूं बताओत के इतिहास को जानने की इच्छा रखते हैं और किसी ऐसे स्थान की यात्रा का विचार बना रहे हैं जहां आपको आजादी की लड़ाई से संबंधित ऐतिहासिक स्थान की यात्रा करने का अवसर प्राप्त हो।
तो आज हम अपने इस लेख के माध्यम से आपको स्वतंत्रता संग्राम मैं एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले झांसी के मुख्य पर्यटन स्थलों के बारे में जानकारी देने जा रहे हैं जहां आप अपने परिवार के साथ जाकर उसे समय के इतिहास को करीब से जान सकते हैं।
झांसी का किला
झांसी की रानी की कहानी तो हम सब ने स्कूल में कभी ना कभी पढ़ी ही होगी। भारत की स्वतंत्रता संग्राम की पहली लड़ाई का झांसी एक महत्वपूर्ण केंद्र रहा। अगर झांसी में घूमने के लिए सबसे पहले लोकेशन का चुनाव किया जाए तो वह झांसी का किला होना चाहिए। अगर आप झांसी शहर का खूबसूरत नजारा देखना चाहते हैं तो झांसी का इस किले से देख सकते हैं।

1857 की क्रांति में इस किले का एक हिस्सा लड़ाई में नष्ट हो गया था। लेकिन आज भी झांसी का यह ऐतिहासिक किला शानो-शौकत के साथ खड़ा हुआ है। जिसे देखने के लिए पर्यटक अक्सर यहां पहुंचते हैं। 17वीं शताब्दी में बनाए गए इसके लिए का निर्माण राजा वीर सिंह ने करवाया था। किले के अंदर रानी लक्ष्मीबाई पार्क और गणेश मंदिर भी बनाया गया है।
झांसी म्यूजियम
झांसी यात्रा के दौरान झांसी म्यूजियम की विजिट जरूर करें। 19वीं सदी में बने इस म्यूजियम में आपको झांसी के सदियों पुरानी ऐतिहासिक कलाकृतियां देखने को मिलती हैं। इस म्यूजियम में आप रानी लक्ष्मीबाई से संबंधित कई ऐतिहासिक वस्तएं तलवार, ढाल, चाकू, तोप को देख सकते हैं।
यहां आपको चार लाख साल पुराने हथियार और मूर्तियां के साथ-साथ मुगल और ब्रिटिश काल सिक्के भी देखने को मिलते हैं। बुंदेलखंड की ऐतिहासिक धरोहर को संगीन वाला यह ऐतिहासिक म्यूजियम पूरे बुंदेलखंड का एकमात्र संग्रहालय और देश के सबसे पुराने संग्रहालय में से एक है।
ओरछा फोर्ट
अगर आप झांसी घूमने के लिए जा रहे हैं तो झांसी से केवल 16 किलोमीटर की दूरी पर स्थित मध्य प्रदेश के ओरछा किले को जरुर विजिट करें। ओरछा किले का निर्माण 16वीं शताब्दी में राजा रुद्र प्रताप सिंह ने करवाया था। बेतवा नदी के किनारे बने इसके लिए का एक हिस्सा राजाराम के किले के रूप में भी मशहूर है।

जहां श्री राम को राजा के रूप में पूजा जाता है। इसके लिए की अद्भुत वास्तुकला को दर्शाने के लिए यहां बनाए गए शीश महल,, फूल बाग, राय प्रवीण महल और जहाँगीर महल को देखने के लिए बड़ी संख्या में पर्यटक यहां पहुंचते हैं। अगर आप वोटिंग और रिवर राफ्टिंग का शौक रखते हैं तो आप यहां यात्रा के दौरान बेतवा नदी में यह एडवेंचर भी इंजॉय कर सकते हैं।
शाही महल
झांसी यात्रा के दौरान आप यहां बने झांसी की रानी के शाही महल को देखना मिस नहीं कर सकते। इस महल को रानी का महल इसलिए कहा जाता है क्योंकि रानी लक्ष्मीबाई इसी स्थान पर निवास करती थी।
इस महल का निर्माण राजा रघुनाथ राय 2 में करवाया था। एल आकार में बना यह महल अपने अद्भुत वास्तु कला के लिए मशहूर है। रानी लक्ष्मीबाई के पति राजा गंगाधर राव की मृत्यु के बाद रानी लक्ष्मीबाई इसी महल में रहती थी। इस महल में 6 हॉल और दो मंजिलें हैं।
राजा गंगाधर राव की छत्री
झांसी यात्रा के दौरान आप राजा गंगाधर राव की छतरी के नाम से विख्यात एक ऐतिहासिक पर्यटक स्थल की यात्रा भी कर सकते हैं। यह स्थान रानी लक्ष्मी बाई के पति राजा गंगाधर राव की समाधि स्थल है। इस ऐतिहासिक स्थल का निर्माण रानी लक्ष्मीबाई ने अपने पति की स्मृति में करवाया था।

झांसी से लगभग डेढ़ किलोमीटर की दूरी पर स्थित यह स्थान अद्भुत वास्तुकला का उदाहरण प्रस्तुत करता है। इस स्थान के अलावा आप यहां बने लक्ष्मी झील और मां लक्ष्मी के मंदिर भी देख सकते हैं। स्थानीय लोगों में इस प्राचीन लक्ष्मी मंदिर के प्रति का बड़ी आस्था है। जहां हर दिवाली पर बड़ी संख्या में यात्री माता के दर्शन करने पहुंचते हैं।

